Aligarh News: उत्तर प्रदेश के अलीगढ़ शहर में स्थित अलीगढ़ मुस्लिम विश्वविद्यालय के ओल्ड ब्वॉयज लॉज में आयोजित हुए मुसलमानों के शैक्षिक भविष्य से जुड़ा एक कार्यक्रम संपन्न हुआ।
रजा एजुकेशनल ट्रस्ट द्वारा आयोजित हुए इस कार्यक्रम में एएमयू ओल्ड ब्वॉयज एसोसिएशन दिल्ली के पूर्व महासचिव डॉ. मुदस्सिर हयात मुख्य अतिथि के रूप में शामिल हुए।
डॉ. मुदस्सिर ने कार्यक्रम में कहा कि अगर मुसलमानों को आधुनिक शिक्षा के साथ जोड़ना है तो मदरसों में विज्ञान की शिक्षा को प्रमुख रूप से शामिल करना होगा।
उन्होंने कहा कि सर सैयद ने अपने समय में पहले ही इस जरूरत को समझ लिया था। उन्होंने यह जान लिया था कि अब सिर्फ ज्ञान नहीं बल्कि विज्ञान भी चाहिए होगा।
यह जरूरत आज भी शिद्दत से महसूस की जा रही है। इसलिए मदरसों को साइंस के साथ-साथ तकनीकी शिक्षा के साथ भी इस समय जोड़ना बहुत जरूरी है।
अलीगढ़ मुस्लिम विश्वविद्यालय की रेजिडेंशियल कोचिंग एकेडमी के डायरेक्टर डॉ. इमरान सलीम ने कहा कि प्रतियोगी परीक्षाओं में मुस्लिम समुदाय के विद्यार्थियों को अच्छा प्रदर्शन करने के लिए जरूरी है। आधुनिक समाज में घटित होने वाली घटनाओं पर पैनी नजर रखें।
सर सैयद एकेडमी के निदेशक डॉ. मोहम्मद शाहिद ने कहा कि सर सैयद जिन सरोकारों के लिए अपने समय में चिंतित थे वह सरोकार आज भी जिंदा है। एएमयू थियोलॉजी डिपार्टमेंट के डॉ. रेहान अख्तर ने कहा कि दीन के साथ दुनियावी तालीम भी समय की जरूरत है।
कार्यक्रम के संयोजक ट्रस्ट के अध्यक्ष मोहम्मद आसिफ खान रहे। कार्यक्रम में जिया उर रब, वाहिद हुसैन, तसव्वर जमाल, जावेद उमर, फरहान शैजी आदि मौजूद रहे। संचालन डॉक्टर फैसल हसन ने किया।